• गोमिया-ललपनिया मुख्य सड़क पर बना पुल बहा।
• नदी की तेज धारा में भ्रष्टाचार का भेंट चढ़ा बोकारो नदी पर बना पुल।
• पुल के साथ एक ग्रामीण भी बहा।
संवाददाता, गोमिया।
गोमिया-ललपनिया मुख्य सड़क पर बना पुल का एक हिस्सा शुक्रवार को नदी की तेज धारा में बह गया। इस घटना में एक ग्रामीण के लापता होने की खबर है।
बताते चलें कि गोमिया प्रखंड के ढेंढे गांव निवासी भोरी लाल प्रजापति का खेत सियारी पंचायत के डुमरी गांव के निकट है। उक्त दोनों गांव के बीच बोकारो नदी पर 10 साल पहले एक पुल का निर्माण किया गया था। दो दिनों के मूसलाधार बारिश से उत्साहित किसान भोरी लाल उक्त पुल से पार कर अपना खेत जोतने जा रहा था। उसके आगे और पीछे भी लोग पुल पार कर थे। लेकिन भोरी लाल जैसे ही पुल के बीच पर पहुंचा कि अचानक पुल भरभराकर गिर गया। पुल के आगे और पीछे जो लोग थे, वे लोग भाग कर अपनी जान बचाई। भोरी लाल पुल के साथ हीं नदी में गिर गया। पानी के तेज बहाव और पुल का एक हिस्सा गिरने से भोरी लाल का कुछ अता पता नहीं चला। गांव के अन्य लोग जो वहां मौजूद थे, उन्होंने भोरी लाल को ढुंढने का काफी प्रयास किया। लेकिन कुछ पता नहीं चला।
ग्रामीण और परिवार के लोग ललपनिया-गोमिया मुख्य पथ के ढेंढे गांव स्थित सड़क को जाम कर दिया। उनकी मांग थी कि रेस्क्यू टीम लगाकर भोरी लाल की तलाश किया जाय। सड़क जाम होने की सूचना मिलने पर कई जन प्रतिनिधि व जिला प्रशासन के पदाधिकारी मौके पर पहुंच कर ग्रामीणों से वार्ता किए।
जाम समझौता वार्ता के बाद हटा लिया गया है। वार्ता में गोमिया विधायक डॉ लंबोदर महतो, बेरमो एसडीओ अशोक कुमार, बीडीओ महादेव महतो, सीओ प्रदीप कुमार, थाना प्रभारी नित्यानंद भोगता, भाजपा नेता देवनारायण प्रजापति सहित ग्रामीण शामिल थे। घटना की जानकारी मिलने पर पिछड़ा वर्ग आयोग के अध्यक्ष सह पूर्व विधायक योगेंद्र प्रसाद, होसिर पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि महावीर रविदास, पंसस महेश रविदास सहित अन्य लोग मौके पर पहुंचे। श्री प्रसाद ने बोकारो डीसी सहित अन्य पदाधिकारियों को जानकारी दी और रेस्क्यू टीम लगाकर भोरी लाल की खोजबीन शुरू करने को कहा।
आश्वासन पर जाम हटा
गोमिया विधायक और एसडीओ के मौजूदगी में वार्ता हुई। उन्होंने कहा कि गोताखोर से उसकी तलाश की जा रही है। यदि वे आपदा के शिकार हुए हैं तो उनके परिजन को आपदा विभाग से नियमानुसार चार लाख मुआवजा राशि दी जाएगी। इसके अलावा राष्ट्रीय पारिवारिक लाभ के तहत 20 हज़ार रूपया तुरंत दिया जाएगा। विधवा पेंशन एक सप्ताह के अंदर में स्वीकृत कर दिया जाएगा। मृतक की पत्नी को अम्बेदकर आवास दिया जाएगा। मृतक के किसी एक आश्रित को तकनीकी के आधार पर ONGC में नियोजन के लिए कार्रवाई की जाएगी। इस आश्वासन के बाद सड़क जाम हटाया गया।