लोकइन नदी में पानी बढ़ने के बाद तटबंध टूटा, 12 से अधिक गांवों और खेत में फैला पानी प्रभावित क्षेत्र से लोगों को निकाला जा रहा बाहर
रिपोर्ट : राजेश कुमार विश्वकर्मा, नालंदा।
बिहार के पड़ोसी राज्य झारखंड में मानसून मेहरबान हुई तो नालंदा के पश्चिम से होकर बहने वाली लोकाइन नदी का जलस्तर बढ़ गया। हालांकि नालंदा की अन्य नदियां अब भी बिन पानी सुखी है। लोकाइन नदी में पानी देख जहां किसानों के चेहरे पर खुशी लौट आई है। तो वहीं अब कुछ इलाकों में बाढ़ का खतरा भी मंडराने लगा है। नदी में बने तटबंध कुछ जगह टूट गया है। इससे खेतों में नदी का पानी प्रवेश कर गया है तो वहीं दर्जन भर गांव भी पानी से घिर गया है।
नदी में आई तेज-बहाव के कारण धुरी बीघा गांव के पास करीब 20 फीट तक तटबंध टूट गया है। पश्चिमी तटबंध टूटने के कारण धुरी बीघा, फुलवरिया, छियासठ बीघा, मुरलीगढ़, सोहरापुर, कुसेता एवं राढ़ील छिलका गांव के खेतों में पानी प्रवेश कर गया, जबकि धाना बीघा गांव से पूरबी तटबंध टूटने के कारण धाना बीघा, बेलदारी बीघा के खेत जलमग्न हो गए है। मुसाढ़ी गांव के पास भी तटबंध टूट गए हैं। करीब 100 एकड़ से ज्यादा के रकवे में लगे फसल जलमग्न हो गया है।
हिलसा SDO प्रवीण कुमार ने बताया कि नदी में एक दो स्थानों पर पानी की तेज बहाव में तटबंध को नुकसान हुआ है। जिसके कारण खेतों में पानी चला गया है। वहीं बेलदारी विगहा गांव में नदी का पानी प्रवेश कर गया है। करीब 40 घर पानी से घिर चुका है। जहां के लोगों को बाहर निकाला जा रहा है और राहत शिविर बनाई जा रही है। मेडिकल टीम को भी मौके पर बुलाया गया है। उन्होंने कहा कि प्रशासन पूरी तरह से अलर्ट है। पानी के बहाव में थोड़ी कमी आई है। अगर फिर से पड़ोसी राज्य या जिले में बारिश होती है तो पानी के बहाव में तेजी देखी जा सकती है। एहतियात के लिए SDRF की टीम को भी बुला लिया गया है।
फल्गु की सहायक नदी लोकाइन में साल 2016 के बाद इतनी पानी आई है। लोकाइन नदी नालंदा के एकंगरसराय, हिलसा एवं करायपरसुराय प्रखंडो से होकर गुजरती है। सावन महीने के शुरू होने के पहले नालंदा के सकरी, जिरायन, गोईठवा, सोइवा एवं पंचाने नदी में धार फूटी थी। लेकिन अब वह भी शांत पड़ी हुई। उम्मीद जताई जा रही है कि जल्द हीं इन नदियों में भी पानी आएगा। हालांकि लोकइन नदी में पानी आने से गिरते जलस्तर पर विराम लगेगा। एकंगरसराय प्रखंड जो गिरते भू-जल स्तर के कारण डेंजर जोन में आ गया था। इस प्रखंड को भी राहत मिलेगी।
आपदा प्रबंधन विभाग द्वारा दो दिन पूर्व हीं जिले भर में अत्याधिक बारिश के कारण ठनका गिरने, पेड़ गिरने और स्थानीय आपदा बढ़ने को लेकर अलर्ट जारी किया गया था। वहीं झारखंड में अत्यधिक बारिश के कारण नालंदा की नदियों में बाढ़ आने की चेतावनी भी जारी की गई थी। जिलाधिकारी ने इस संदर्भ में सभी प्रखंड विकास पदाधिकारी, अंचलाधिकारी एवं प्रखंडों के पर्यवेक्षक अधिकारी को मुख्यालय में बने रहने एवं सतर्क रहने का निर्देश दिया गया था। वहीं जिलाधिकारी शशांक शुभंकर भी हिलसा के पश्चिमी इलाके में बाढ़ प्रभावित इलाकों का जायजा ले रहे हैं।